दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी की हार के बाद केजरीवाल सार्वजनिक जीवन से लगभग गायब से हो गए। आप नेता सौरभ भारद्वाज ने वीडियो जारी कर बताया कि केजरीवाल पंजाब में विपश्यना सत्र में शामिल हुए थे।
सौरभ ने केजरीवाल के 10 दिन सेंटर में रहने के दौरान के रुटीन को बताया। केजरीवाल ने अपने बर्तन, कपड़े और टॉयलेट धोए। सौरभ ने बताया कि केजरीवाल का दिन का ज्यादातर हिस्सा मेडिटेशन में ही जाता था। जानिए सौरभ ने और क्या कुछ बताया।
मेडिटेशन के लिए कहां गए थे केजरीवाल
दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल ने पंजाब के होशियारपुर स्थित आनंदगढ़ के धम्म धजा विपश्यना केंद्र में 10 दिन के विपश्यना सत्र में भाग लिया था। यह सत्र 15 मार्च 2025 को समाप्त हुआ था।
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कितने घंटे मेडिटेशन में भाग लेते थे केजरीवाल
विपश्यना सत्र के दौरान प्रतिभागियों का दैनिक कार्यक्रम काफी सख्त होता है। सौरभ भारद्वाज ने बताया कि प्रतिभागियों को सुबह-सुबह 4 बजे उठना होता है। सुबह 4:30 से 6:30 बजे तक पहली ध्यान सत्र होती है। सुबह 9 बजे से ग्रुप मेडिटेशन होती है, जो 11 बजे तक चलती है।
दोपहर 1 बजे से 2:30 बजे तक एक बार फिर ध्यान सत्र होती है, जिसे अकेले या समूह में किया जा सकता है। यह सिलसिला शाम 5 बजे तक टुकड़ों में चलता रहता है। शाम 5 बजे के नाश्ते के बाद रात 9:30 बजे तक ध्यान सत्र जारी रहती है।
नाश्ता, खाना और साफ-सफाई का समय
6:30 से 8:30 बजे तक नाश्ता करने के साथ-साथ अपने कमरे और बाथरूम की सफाई करनी होती है। 11 बजे से दोपहर 12 बजे तक लंच का समय होता है। शाम 5 बजे के बाद नाश्ता करने का समय मिलता है।
यहां प्रतिभागियों को स्वयं बिस्तर लगाना, भोजन के लिए लाइन में लगना और सफाई करनी होती है। साथ ही, मोबाइल, टीवी या लिखने-पढ़ने की अनुमति नहीं होती, और अन्य प्रतिभागियों से बातचीत भी निषिद्ध होती है।
इससे पहले भी गए थे ध्यान लगाने गए थे केजरीवाल
यह पहली बार नहीं है कि केजरीवाल ने विपश्यना सत्र में भाग लिया है। इससे पहले भी वे सितंबर 2017 में मुंबई के विपश्यना केंद्र और बेंगलुरु के विपश्यना केंद्र में ध्यान करने के लिए जा चुके हैं।
विपश्यना सत्र पूरा करने के बाद अरविंद केजरीवाल अमृतसर पहुंचे, जहां उन्होंने पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ स्वर्ण मंदिर, दुर्गियाणा मंदिर और वाल्मीकि तीर्थ स्थल पर जाकर दर्शन किया।